गठिया( gout) का दर्द केसे दूर करें?(gathiya ka dard kaise dur karen?)-
गठिया( gout) का दर्द केसे दूर करें?
Gout (गठिया) -
gout जिसे हम सामान्य भाषा में 'गठिया' या # गठिया_वात के नाम से भी जाना जाता है !इस रोग मे मनुष्य को जोडो मे दर्द होता है सुजन आ जाती है ! और दर्द असहनीय होता है !
गठिया के कारण -
शरीर में # Uric_acid की मात्रा सामान्य
से अधिक बढ़ जाने के कारण होता हैं। Uric acid यह एक प्रकार
का विषैला तत्व है जो की शरीर में Purines से तैयार होता
हैं। सामान्तः किडनी इस विषैले तत्व को मूत्र के साथ शरीर से
बाहर निकाल देता हैं। किसी कारणवश किडनी की
कार्यक्षमता कम हो जाने के कारण रक्त में Uric acid का
प्रमाण बढ़ जाता है और यह विषैला तत्व छोटे-छोटे स्फटिक के
रूप में जोड़ो में जमा होकर दर्द, सूजन और जकड़न इत्यादि
लक्षण उत्पन्न करता हैं।
गठिया रोग का लक्षण-
गठिया रोग में जोड़ो में Uric acid के जमा हो जाने के कारण
1) सूजन, दर्द और जकड़न जैसे लक्षण नजर आते हैं।
2) रोग के अधिक बढ़ जाने पर चलने-फिरने में परेशानी होती हैं।
3) जोड़ो को सिर्फ छूने पर भी अत्यधिक पीड़ा होती हैं।
4) पीड़ित जोड़ की त्वचा लाल रंग की दिखने लगती हैं।
5) कभी-कभी जोड़ो को आकर भी विकृत हो जाता हैं।
6) यह रोग ज्यादातर पैर के अंगूठे में अधिक पाया जाता हैं। इसके
अलावा घुटनो, उंगलियो, नितम्बो, घुटनो, मेरुदंड के जोड़ो,
कोहनी तथा कलाईयों के जोड़ो में भी इसका असर हो सकता
हैं।
पुरुषो मे गठिया की जांच -
पुरुषों में रक्त जांच में Uric acid की मात्रा 7.2 mg/dl से अधिक
आने पर Hyperuricemia / Gout का निदान किया जाता हैं।
महिलाओ मे गठिया की जांच -
महिलाओ में रक्त जांच में Uric acid की मात्रा 6.1 mg/dl से
अधिक आने पर Hyperuricemia / Gout का निदान किया
जाता हैं।
जोड़ो के पानी की जांच और मूत्र जांच में अधिक मात्रा में
Uric acid के पाए जाने पर Gout / गठिया रोग का निदान
किया जाता हैं।
Gout / गठिया रोग का क्या कारण हैं ?-
1) Gout / गठिया रोग रक्त में Uric acid की अधिक मात्रा के
कारण होता हैं।
2) महिलाओ की तुलना में यह रोग पुरुषों में अधिक पाया जाता हैं।
शरीर में Uric acid बढ़ने के कारण जैसे की मोटापा, ज्यादा
3) शराब पीना, अत्यधिक Purine युक्त पदार्थ जैसे की मांसाहार,
4) Aspirin और ज्यादा पेशाब होने के लिए इस्तेमाल की
जानेवाली दवा (diuretics) और अनुवांशिकता इत्यादि
कारणों से Gout / गठिया रोग हो सकता हैं।
5) महिलाओ में रजोनिवृत्ति के बाद Gout / गठिया रोग होने का
खतरा अधिक रहता हैं।
6) किसी बड़ी बिमारी या शल्य क्रिया / Operation के बाद भी
Gout / गठिया होने का खतरा रहता हैं।
Gout / गठिया रोग का ईलाज कैसे किया जाता हैं ?-
Gout / गठिया रोग का ईलाज निम्नलिखित तरीके से किया
जाता हैं :
1) Gout / गठिया रोग का ईलाज करने के लिए डॉक्टर रोगी की
जांच कर दर्द और सुजन कम करने के लिए स्टेरॉयड और दर्दनाशक
दवा देते हैं।
2)इसके साथ रक्त में Uric acid की मात्रा को सामान्य करने के
लिए विशेष दवा दी जाती हैं।
पीड़ित जोड़ को आराम देने की सलाह दी जाती हैं।
3) अत्यधिक दर्द और सुजन होने पर पीड़ित जोड़ो पर बर्फ / ice
लगाने से लाभ होता हैं।
4) पीड़ित व्यक्ति को वजन नियंत्रण, व्यायाम और आहार में
परिवर्तन करने की सलाह दी जाती हैं।
5) अत्याधिक पीड़ा और सुजन होने पर Uric acid के crystals /
स्फटिक निकालने के लिए शल्य क्रिया / operation किया जा
सकता हैं।
Gout / गठिया रोग में कैसा आहार लेना चाहिए ?-
Gout / गठिया रोग में रक्त में Uric acid की मात्रा अधिक बढ़ने
(Hyperuricemia) के कारण Uric acid को नियंत्रण करनेवाला
अधिक Potassium युक्त आहार लेना चाहिए जैसे की केला,
दही, रतालू, मक्का, बाजरा, दलिया, जव, सूखे आडू इत्यादि।
अधिक Complex Protein युक्त आहार लेना चाहिए जैसे की
जामुन, अजवाइन, अजमोदा, गोभी इत्यादि।
ऐसा आहार लेना चाहिए जिसमे Purine की मात्रा कम हो जैसे
की अंडा, पनीर, चावल, मकई, साबुत गेहू की ब्रेड, सिरका
इत्यादि।
अधिक Bromelain और Vitamin C युक्त आहार लेना चाहिए जैसे
की अलसी, अननस, निम्बू, लाल गोभी, जैतून का तेल इत्यादि।
ज्यादा Purine युक्त आहार नहीं लेना चाहिए जैसे की खमीर,
झींगा, सूअर का मांस, प्रसंस्कृत मांस, फूलगोभी, पालक, मटर,
मशरूम, शीतपेय, गोश्त इत्यादि।
और अधिक जानकारी के लिये हमारी पिछली पोस्ट पढे
Not-
किसी भी ओषधि के सेवन से पूर्व किसी वैद या डॉक्टर की सलाह अवश्य लें। सभी मनुष्य की शारीरिक प्रकृति अलग अलग होती है। और औषधि मनुष्य की प्रकृति के अनुसार दी जाती है यह वेबसाइट किसी को भी बिना सही जानकारी के औषधि सेवन की सलाह नही देती अतः बिना किसी वैद की सलाह के किसी भी दावाई का सेवन ना करें।
महिलाओ के गुप्त रोगों की जानकारी और आयुर्वेदिक नुस्खो की जानकारी के लिये इस लिंक पर क्लिक करें -
Aayurvaidice.blogspot.com
onnihealhcare.blogspot.com
Question -
Hello mam i am prakash mujhe gathiya ki problem hai kya karu kuchh upaye bataiye.
Prakash bhadoriya
Ans-
Prakash ji GaGathiya hone ke kai karan hai. Aap apne bare me sb kuchh bataiye. Diye gaye number pr call ya whatsapp karen.
Onni health care
Question -
Hello mam mera naam priti hai mujhe gathiya ki problem hai aap ke nuskhe apna kr mujhe bahut fayda huaa hai. Thank you
Priti majumdar
Question-
Hello mam mera naam kapil hai mujhe gathiya ki problem hai please upaye bataiye.
Kapil barjatya
Question -
Hello mam mera nam tripti he.meri mom ko gout ki problem he .unse chal bhi nhi jata please help karen.
Tripti rastogi
Question-
Hello mam mera nam rameshvar he or meri age 45 he or mujhe gathiya ki samsya he kya karu koi upaye bataiye please .
Rameshwar
Gout (गठिया) -
gout जिसे हम सामान्य भाषा में 'गठिया' या # गठिया_वात के नाम से भी जाना जाता है !इस रोग मे मनुष्य को जोडो मे दर्द होता है सुजन आ जाती है ! और दर्द असहनीय होता है !
गठिया के कारण -
शरीर में # Uric_acid की मात्रा सामान्य
से अधिक बढ़ जाने के कारण होता हैं। Uric acid यह एक प्रकार
का विषैला तत्व है जो की शरीर में Purines से तैयार होता
हैं। सामान्तः किडनी इस विषैले तत्व को मूत्र के साथ शरीर से
बाहर निकाल देता हैं। किसी कारणवश किडनी की
कार्यक्षमता कम हो जाने के कारण रक्त में Uric acid का
प्रमाण बढ़ जाता है और यह विषैला तत्व छोटे-छोटे स्फटिक के
रूप में जोड़ो में जमा होकर दर्द, सूजन और जकड़न इत्यादि
लक्षण उत्पन्न करता हैं।
गठिया रोग का लक्षण-
गठिया रोग में जोड़ो में Uric acid के जमा हो जाने के कारण
1) सूजन, दर्द और जकड़न जैसे लक्षण नजर आते हैं।
2) रोग के अधिक बढ़ जाने पर चलने-फिरने में परेशानी होती हैं।
3) जोड़ो को सिर्फ छूने पर भी अत्यधिक पीड़ा होती हैं।
4) पीड़ित जोड़ की त्वचा लाल रंग की दिखने लगती हैं।
5) कभी-कभी जोड़ो को आकर भी विकृत हो जाता हैं।
6) यह रोग ज्यादातर पैर के अंगूठे में अधिक पाया जाता हैं। इसके
अलावा घुटनो, उंगलियो, नितम्बो, घुटनो, मेरुदंड के जोड़ो,
कोहनी तथा कलाईयों के जोड़ो में भी इसका असर हो सकता
हैं।
पुरुषो मे गठिया की जांच -
पुरुषों में रक्त जांच में Uric acid की मात्रा 7.2 mg/dl से अधिक
आने पर Hyperuricemia / Gout का निदान किया जाता हैं।
महिलाओ मे गठिया की जांच -
महिलाओ में रक्त जांच में Uric acid की मात्रा 6.1 mg/dl से
अधिक आने पर Hyperuricemia / Gout का निदान किया
जाता हैं।
जोड़ो के पानी की जांच और मूत्र जांच में अधिक मात्रा में
Uric acid के पाए जाने पर Gout / गठिया रोग का निदान
किया जाता हैं।
Gout / गठिया रोग का क्या कारण हैं ?-
1) Gout / गठिया रोग रक्त में Uric acid की अधिक मात्रा के
कारण होता हैं।
2) महिलाओ की तुलना में यह रोग पुरुषों में अधिक पाया जाता हैं।
शरीर में Uric acid बढ़ने के कारण जैसे की मोटापा, ज्यादा
3) शराब पीना, अत्यधिक Purine युक्त पदार्थ जैसे की मांसाहार,
4) Aspirin और ज्यादा पेशाब होने के लिए इस्तेमाल की
जानेवाली दवा (diuretics) और अनुवांशिकता इत्यादि
कारणों से Gout / गठिया रोग हो सकता हैं।
5) महिलाओ में रजोनिवृत्ति के बाद Gout / गठिया रोग होने का
खतरा अधिक रहता हैं।
6) किसी बड़ी बिमारी या शल्य क्रिया / Operation के बाद भी
Gout / गठिया होने का खतरा रहता हैं।
Gout / गठिया रोग का ईलाज कैसे किया जाता हैं ?-
Gout / गठिया रोग का ईलाज निम्नलिखित तरीके से किया
जाता हैं :
1) Gout / गठिया रोग का ईलाज करने के लिए डॉक्टर रोगी की
जांच कर दर्द और सुजन कम करने के लिए स्टेरॉयड और दर्दनाशक
दवा देते हैं।
2)इसके साथ रक्त में Uric acid की मात्रा को सामान्य करने के
लिए विशेष दवा दी जाती हैं।
पीड़ित जोड़ को आराम देने की सलाह दी जाती हैं।
3) अत्यधिक दर्द और सुजन होने पर पीड़ित जोड़ो पर बर्फ / ice
लगाने से लाभ होता हैं।
4) पीड़ित व्यक्ति को वजन नियंत्रण, व्यायाम और आहार में
परिवर्तन करने की सलाह दी जाती हैं।
5) अत्याधिक पीड़ा और सुजन होने पर Uric acid के crystals /
स्फटिक निकालने के लिए शल्य क्रिया / operation किया जा
सकता हैं।
Gout / गठिया रोग में कैसा आहार लेना चाहिए ?-
Gout / गठिया रोग में रक्त में Uric acid की मात्रा अधिक बढ़ने
(Hyperuricemia) के कारण Uric acid को नियंत्रण करनेवाला
अधिक Potassium युक्त आहार लेना चाहिए जैसे की केला,
दही, रतालू, मक्का, बाजरा, दलिया, जव, सूखे आडू इत्यादि।
अधिक Complex Protein युक्त आहार लेना चाहिए जैसे की
जामुन, अजवाइन, अजमोदा, गोभी इत्यादि।
ऐसा आहार लेना चाहिए जिसमे Purine की मात्रा कम हो जैसे
की अंडा, पनीर, चावल, मकई, साबुत गेहू की ब्रेड, सिरका
इत्यादि।
अधिक Bromelain और Vitamin C युक्त आहार लेना चाहिए जैसे
की अलसी, अननस, निम्बू, लाल गोभी, जैतून का तेल इत्यादि।
ज्यादा Purine युक्त आहार नहीं लेना चाहिए जैसे की खमीर,
झींगा, सूअर का मांस, प्रसंस्कृत मांस, फूलगोभी, पालक, मटर,
मशरूम, शीतपेय, गोश्त इत्यादि।
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किसी भी ओषधि के सेवन से पूर्व किसी वैद या डॉक्टर की सलाह अवश्य लें। सभी मनुष्य की शारीरिक प्रकृति अलग अलग होती है। और औषधि मनुष्य की प्रकृति के अनुसार दी जाती है यह वेबसाइट किसी को भी बिना सही जानकारी के औषधि सेवन की सलाह नही देती अतः बिना किसी वैद की सलाह के किसी भी दावाई का सेवन ना करें।
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Hello mam i am prakash mujhe gathiya ki problem hai kya karu kuchh upaye bataiye.
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Rameshwar
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